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12/25/09

डा. कलाम और अनुष्का



आज आपको अनुष्का के बारे में बताते हैं. अनुष्का लखनऊ के लामार्टिनियर गल्र्स स्कूल में पढऩेवाली एक बच्ची है. आम बच्चों की तरह वो भी उन लोगों से मिलना चाहती है, उनके आटोग्राफ लेना चाहती है जो उनके रोलमॉडल हैं. पिछले कुछ दिनों से बीमार होने की वजह से अनुष्का स्कूल नहीं आ रही थी. उसे पता चला कि पूर्व राष्ट्रपति डा. कलाम मंगलवार को लामार्टिनियर आ रहे हैं बच्चों से मिलने. तो बीमार होने के बावजूद वह भी ड्रेस पहन कर पहुंच गई स्कूल उनसे मिलने. हाथ में एक छोटा सा बुके और खुद बनाया गया ग्रीटिंग कार्ड. लेकिन मिलने वाले बच्चों की लिस्ट में उसका नाम नहीं था और सुरक्षा कारणों से उसे डा. कलाम से मिलने की इजाजत नहीं मिली. मायूस अनुष्का स्कूल केबाहर ही अपनी मां के साथ खड़ी हो गई कि डा. कलाम जब बाहर निकलेंगे तो शायद हाथ मिलाने का मौका मिल जाए. लेकिन पुलिस वालों ने वहां भी ज्यादा देर नहीं खड़े होने दिया. मायूस मां-बेटी काफी दूर मोड़ पर अकेले खड़ी थीं. हमारा प्रेस फोटोग्राफर विकास बाबू ठिठका सूनसान रोड पर एक बच्ची को बुके लिए खड़े देख. अनुष्का और उसकी मां के आंखों में अपने रोल मॉडल से ना मिल पाने के कारण आंसू थे. उसने सलाह दी कि अब डा. कलाम गवर्नर हाउस जाएंगे. वहां कोशिश कर लीजिए. फोटोग्राफर भी राजभवन पहुंचा तो वहां भी मां-बेटी बुके लिए खड़ी मिली. राजभवन के गेट पर सेक्योरिटी वाले ने साफ मना कर दिया कि अप्वाइंटमेंट नही है तो नहीं मिल सकते. अनुष्का ने कहा प्लीज मरो कार्ड और बुके ही पहुंचा दीजिए अंदर. सब ने हाथ खड़े कर दिए. अनुष्का गेट पर खड़ी फिर रोने लगी. बच्ची को देख फोटोग्राफर भी परेशान था. इसके पहले डा. कलाम यूपीटीयू कैम्पस में थे और फाटोग्राफर विकास वहां भी था. उसने डा. कलाम के देर तक फोटो खीचे थे. लेकिन यहां वह कुछ मदद नहीं कर नही पा रहा था. तभी वीवीआईपी सिक्योरिटी में लगा एक सीनियर अफसर विकास को देख कर रुक गया. अरे, आप तो यूपीटीयू में भी थे. आपको अभी और फोटो चाहिए. विकास ने उनसे अनुष्का का बात बताई. अधिकारी ने कहा कि डा. कलाम अभी लंच कर रहे हैं फिर दिल्ली लौट जाएंगे. मुश्किल है मिल पाना. फिर भी कोशिश करते हैं. मायूस अनुष्का लौटने जा रही थी. तभी अंदर से मैसेज आया, मां-बेटी को अंदर भेजिए. डा. कलाम ने प्यार से अनुष्का को पास बैठाया, आटोग्राफ दिए, उसकी पढ़ाई के बारे पूछा, फोटो खिंचवाई. डा. कलाम ने अपने सेक्रेटरी की हिदायत दी कि ये फोटो अनुष्का को जरूर भिजवा दें. अनुष्का खुशी- खुशी बाहर आई. उसका चेहरा फूलों की तरह खिला हुआ था. तो ऐसे डा. कलाम और ऐसे हैं आजकल के बच्चे. इस जज्बे को सलाम.

11 comments:

  1. vakai....is kahani ke baad ye vishavs majboot hota hai ki kalam sahab ek naram dil insan hain....or anushka ka unse milnie ki zid ye dikhata hai ki agar aap kuchh chahate hain to vo aapako jarur milata hai.

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  2. आपके इस प्रसंग ने मेरे मन में कलाम जी के लिये और आदर भर दिया है । अनुष्का के भीतर छिपी आकांक्षा को भी पहचानने की कोशिश कर रहा हूँ, और उस आकांक्षा का चरित्र भी देख समझ रहा हूँ ।

    डॉ० क़लाम, अमिताभ या आमिर खान नहीं थे ।

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  3. कमाल जी के अद्भुत व्यक्तित्व की एक और मिसाल ...उनके जैसे मुट्ठी भर लोग भी यदि राजनीति में आ जाये तो इस देश का भविष्य सुरक्षित हो जाए ...
    आभार ....!!

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  4. kalam ji ka vyaktitv hi alag hai. behad jameen se jude ensan. eaise netao ki desh me kami thi par rhaul gandhi jase yuvao me umeed bhee dikh rhai hai.kaka ke es roop se parichit karane ke liye dhyanyavaad.

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  5. जिन खोजा तिन पाइया गहरे पानी पैठ.

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  6. इस जज्बे को सलाम. और डा. कलाम को भी!

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  7. haan ojha ji.Dr. Kalaam hamare bhi bahut pyaar hai.....zindgi mein unse milne ki tammanna kiski nahi hogi

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  8. dr kalaam kay liye tou man may hamesha aader aur samman hee rahta hai par chooti see anushka kay jashbay ko bhi salam aur aur usakay ujjval bhavishya kay liye shubkamnaye.

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  9. बेहतरीन पोस्ट। बहुत अच्छा लगा इसे पढ़कर।

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